होली आई रे कन्हाई ((रंग बरसे आप झूमे श्रृंखला भाग ३)

तो आज हम सफर के तीसरे मुकाम पर जा पहुंचे हैं,भोले के अट्ठारह डिब्बों मैं पहुंचे हैं फिल्मो मैं होली मनाने। शब्दों की तरुनाई सबसे बड़ी ठंडक देती है कबीर दास जी ने कहा भी है की
ऐसी वाणी बोलिए,मन का आपा खोये ,औरन को सीतल करे,आपहु सीतल होए।
तो चलिए फिर एक बार रंगीन हो जायें
होली आई रे कन्हाई रंग छलके , सुना दे जरा बांसुरी...। फिल्म मदर इंडिया में शकील बदायुनी का लिखा और नौशाद के संगीत से सजा यह गाना अनायास ही मन में उमड़ती हुई सैकड़ों उमंगों को जगा जाता है और हम झूमते हुए निकल जाते हैं उल्लास व अल्हड़ देशों की यात्रा पर। सिनेमा हमारे समाज, परिवेश, देश और सभ्यता का दर्पण होता है। भारतीय फिल्मों में होली के रंगों की छाप हमेशा से ही दिखाई देती है और एक चिंतनीय तथ्य यह भी है कि आज जब सिनेमा तकनीकी सफलता के युग में जी रहा है वहीं फिल्मों से होली और उसके रंग बिल्कुल जुदा हो चुके हैं। पुरानी फिल्मों में होली के लिए बाकायदा पूरा एक गीत तैयार किया जाता था। आजकल होली के रंग एक शॉट तक सिमट गए हैं। फिल्म रब ने बना दी जोड़ी में होली का सिर्फ एक शॉट ही है। फिल्म शोले में गब्बर का डायलॉग `होली कब है` आज तक लोगों की जुबान पर है साथ ही प्रसिद्ध गाना `होली के दिन दिल खिल जाते हैं` सुनते ही पैर थिरकने पर मजबूर हो जाते हैं। पराया धन फिल्म का गाना ` होली रे होली रंगो की डोली` अपने आप में अद्भुत है। फिल्म सिलसिला का `रंग बरसे`, बागबान का `होली खेले रघुवीरा` सहित कई गाने हैं जो आपको होली उत्सव के आनंद में आनंदित कर देते हैं। शायद वो फिल्मकार, गीतकार और कलाकार सभी उत्सवों में जीने की इच्छा भी रखते थे इसलिए इतने उत्सव गीत लिखे जा सकें हैं।
आजकल रंगो से ज्यादातर फिल्मकार परहेज ही करते हैं। चार साल पहले आई फिल्म वक्त में होली के ऊपर तथाकथित संगीतकार अनु मलिक ने भी गाना तैयार किया था- `लेट्स प्ले होली` जो उनकी तरह ही तथाकथित होली गीत था। खैर हमारे पूर्वज सिनेमाकारों ने हमें होली के उत्सवों में झूमने के लिए इतना कुछ दिया है कि इन नक्कारों की जरूरत नहीं है। पेश-ए-खिदमत है फिल्म मदर इंडिया का नौशाद साहब द्वारा संगीतबद्ध किया यह गीत-



5 comments:

  1. फिल्म मदर इंडिया को मैंने कितनी बार देखा है, याद नहीं. पर हर बार एक नया आनंद मिलता है. इसका एक कारण यह है की इसकी कथावस्तु से लेकर संगीत तक सब कुछ हमारी मिट्टी से जुड़ा हुआ है. होली वाला गीत तो लाजवाब ही है. सामान्यतः होली के गीत तेज संगीत वाले और हुडदंग टाइप के होते हैं पर गीत धीमे और मधुर संगीत का होने की बाद भी होली के माहौल को जीवंत कर देता है.

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  2. वाक़ई होली पर फिल्मों में इस से अच्छा गाना नहीं बना शायद ....

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  3. bahut badhiya, hum ummeed karte hai ki aapki ye post padhkar aaj ke sangeetkaar achhi rachna ke liye badhya ho.

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  4. बहुत खूब दोस्त ....ये गाना भी अपने आप में मिशाल है

    मेरी कलम - मेरी अभिव्यक्ति

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